रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद की सुनवाई शुरू हो गई है. बुधवार को इस सुनवाई का 31वां दिन है और मुस्लिम पक्ष की ओर से दलीलें रखी जा रही हैं. बुधवार को सुनवाई शुरू हुई तो मुस्लिम पक्ष की ओर से मंगलवार को दिए गए बयान पर यू-टर्न ले लिया गया. मंगलवार को मुस्लिम पक्ष की ओर से जफरयाब जिलानी ने अपना पक्ष रखना शुरू किया था, बुधवार को भी उनकी दलीलें ही आगे बढ़ रही हैं.
12.02 PM: जफरयाब जिलानी ने सुप्रीम कोर्ट में हवेनत्सांग की यात्रा का वृतांत बताते हुए विक्रमादित्य के बनाए मंदिर और बौद्ध मठ स्मारकों का अयोध्या में होने का ज़िक्र किया. मंदिरों के इस शहर में सारे मंदिर हिंदुओं के नहीं थे.
इस दौरान जिलानी ने 1862 की एक रिपोर्ट का हवाला दिया जिसमें जन्मस्थान को एक अलग मंदिर बताया गया. रिपोर्ट में कहा गया है कि रामकोट भगवान राम का जन्मस्थान है.
इसपर जस्टिस बोबड़े ने कहा कि उनके गजेटियर में कहा गया है कि रामचबूतरा ही राम का जन्म स्थान है और जो कि केंद्रीय गुंबद से 40 से 50 फीट दूर है. जिलानी ने जवाब दिया कि ये उनका विश्वास है हमारा नहीं है.
इसी दौरान जस्टिस भूषण ने कहा कि अंग्रेजों ने इस जगह को दो हिस्सों में बांटा था, एक अंदरूनी और बाहरी अहाता यानी कोटयार्ड इसलिए उन्होंने बाहरी कोटयार्ड में पूजा करना शुरू किया था. जस्टिस चंद्रचूड़ ने कहा कि सभी गेजेटियर इस बात का इशारा करते हैं कि राम चबूतरे पर ही भगवान राम का जन्म हुआ था.
10.55 AM: मुस्लिम पक्ष की ओर से जफरयाब जिलानी ने सुप्रीम कोर्ट में कहा कि वह रामचबूतरे को भगवान राम का जन्मस्थान नहीं मानते हैं. ये हमने स्वीकार नहीं किया है, बल्कि हिंदुओं का विश्वास है. हमने सिर्फ 1886 में दिया गया कोर्ट का आदेश आपके सामने रखा था.
सुनवाई के दौरान सुन्नी वक्फ बोर्ड ने कहा कि हमारा भी वही स्टैंड है जो राजीव धवन की ओर से रखा गया है. गौरतलब है कि राजीव धवन का कहना है कि भगवान राम का जन्म अयोध्या में हुआ था, लेकिन कहां इसका जवाब उनके पास नहीं है.
मंगलवार को क्या कहा गया था?
आपको बता दें कि मंगलवार को सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट में मुस्लिम पक्ष ने माना था कि रामचबूतरा ही राम का जन्मस्थान है. सुप्रीम कोर्ट में रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद पर 30वें (24 सितंबर) दिन की सुनवाई के दौरान मुस्लिम पक्ष ने माना कि राम चबूतरा ही जन्मस्थान है क्योंकि हिन्दू दावेदार भी सालों से इसी पर विश्वास करते रहे हैं.
मुस्लिम पक्ष ने कहा था कि इस मामले में 1885 में डिस्ट्रिक्ट जज का आदेश है कि हिंदू राम चबूतरे को जनस्थान मानते थे. मुस्लिम पक्षकारों ने कहा कि जब कोर्ट का आदेश है तो हम इससे अलग कैसे हो सकते है?